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मैंभ्रष्टहूँ, भ्रष्टाचारीहूँ
जाओ, चलेजाओ
तुममेरा, क्याउखाड़लोगे !
चलेआये, डराने, डरताहूँक्या !
आगए, डराने, उनकाक्याकरलिया
जोपहलेसबकीमारमारकर
धनियाबो–और–काटकरचलेगए !
…
चलेआयेमुंहउठाकर
नई–नवेलीदुल्हनसमझकर
आओदेखो, देखकरहीनिकललो
अगरज्यादातीन–पांच–तेरहकी
तोमैंपांच–तीन–अठारहकरदूंगा !
फिरघरपेखटियापरबैठ
करतेरहनाहिसाब–किताब !
…
समझेयानहींसमझे
चलोफूटो, फूटो, निकललो
जोपटासकतेहो, पटालेना
जोबनसकेउखाड़लेना !
मेरेसाब, उनसेबड़ेसाब
औरउनकेभीसाब
सबकेसबखूबधनियाबोरहेहैं
क्याकभीउनकाकुछउखाड़पाए !
…
चलेआयेमुंहउठाकर
मुझेसीधा–सादासमझकर
फिरभीकरलोकोशिश
कुछपटानेकी, उखाड़नेकी !
शायदकुछमिलजाए
नहींतो, चुप–चापचलेआओ
दंडवतहो, नतमस्तकहोजाओ
कुछनकुछदेतारहूंगा
तुम्हाराभीखर्चउठातारहूंगा !
…
क्यों, क्यासोचतेहो
हैविचारदंडवतहोनेका
गुरु–चेलाबननेका
कभीतुमगुरु, कभीहमगुरु
कभीहमचेला, कभीतुमचेला
याफिर, हेकड़ीमेंहीरहोगे ?
ठीकहै, तोजाओ, चलेजाओ
उखाड़लो, जोउखाड़सकतेहो !!!
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